बाल गजल लेबलों वाले संदेश दिखाए जा रहे हैं. सभी संदेश दिखाएं
बाल गजल लेबलों वाले संदेश दिखाए जा रहे हैं. सभी संदेश दिखाएं

रविवार, 30 जनवरी 2022

बाल गजल

गजल

पप्पा यौ अहाँ  सूनि  लिअ  आइ मम्मी  हमरा कना देलक
झुठ्ठे  क'  ई  प्यार करए  छै  गालमे  थापड़  लगाा   देलक

कत्तेक  काल  कहू  पढ़बे  करबै  कनियों  नै  खलेबै  हम
संगी  साथी  एल  रहए  आ  घर  सँ सभ केर भगा देलक 

कहलक अझुका टास्क तुँ क'ले ओकर बाद देबौ हम छुट्टी
काउन्टिंग सभटा सुना देलियै हम  एडिसनमे  फसा देलक

मन  छलै  आइ  मैगी  खइतौं कहए छै काल्हिए खेने छलैं
झट  सँ  दौड़ले  आबि  क' हाथमे रोटी सब्जी धरा देलक

अहाँ  किया नै  कहए  छियै  किछु  हमर बात नै सूनए छै
भोरे  उठि  के  आइयो   पप्पा  अइ   ठंढ़ामे  नहा   देलक 


मात्राक्रम- 22-22-22-22-22-22-22-22
ई बहरे-मीर छैक! दू टा अलग-अलग लघु
केँ दीर्घ मानवाक छूट लेल गेल छैक

अभिलाष ठाकुर






विशेष

मैथिली गजल